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चिकित्सा इकाइयों में जागरूकता संगोष्ठियों का हुआ आयोजन।
रूद्रप्रयाग:- स्वास्थ्य विभाग के तत्वावधान seमें विश्व जनसंख्या स्थिरीकरण पखवाड़ा का शुभारंभ हो गया है। इसके तहत जिला चिकित्सालय, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र अगस्त्यमुनि, जखोली व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र ऊखीमठ में जागरूकता गोष्ठी का आयोजन किया गया। इस अवसर पर जनसंख्या स्थिरीकरण के लिए परिवार नियोजन की स्थाई व अस्थाई सेवाओं का लाभ उठाने की अपील की गई।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. एचसीएस मर्तोलिया के निर्देशन में आजादी के विकसित भारत की नई पहचान, परिवार नियोजन हर दंपति की शान थीम पर जनपद के समस्त ब्लाकों में जागरूकता गोष्ठियों के आयोजन के साथ विश्व जनसंख्या स्थिरीकरण पखवाड़े का शुभारंभ किया गया।
जिला चिकित्सालय में आयोजित जागरूकता गोष्ठी में अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डाॅ. विमल सिंह गुसाईं द्वारा जनसंख्या स्थिरीकरण की आवश्यकता को रेखांकित करते हुए कहा कि तेजी से बढ़ रही जनसंख्या से समस्याएं भी बढ़ रही हैं, जिसके दृष्टिगत आने वाली पीढ़ी के सुखद भविष्य के लिए जनसंख्या स्थिरीकरण बेहद जरूरी है। उन्होंने जनसंख्या स्थिरीकरण के लिए परिवार नियोजन की स्थाई व अस्थाई विधियों को अपनाने पर जोर देते हुए कहा कि 24 जुलाई तक विश्व जनसंख्या स्थरीकरण पखवाड़े का आयोजन किया जा रहा है, जिसके तहत समस्त चिकित्सा इकाइयों में परिवार नियोजन सेवाएं, स्वास्थ्य शिक्षा व चिकित्सकीय परामर्श की सुविधाएं निःशुल्क प्रदान की जा रही हैं।
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र अगस्त्यमुनि में निवर्तमान नगर पंचायत सभासद दिनेश बेंजवाल द्वार व सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र जखोली में खंड विकास अधिकारी कमल सिंह पंवार द्वारा पखवाड़े का शुभारंभ किया गया। अपने संबोधन में उन्होंने जनसंख्या स्थिरीकरण हेतु स्वास्थ्य विभाग द्वारा चलाई जा रही परिवार नियोजन की स्थाई व अस्थाई विधि सेवाओं का लाभ उठाने की जनता से अपील की।
तीनों ब्लाकों में आयोजित जागरूकता गोष्ठियों में जनसंख्या वृद्धि से होने वाले प्रतिकूल प्रभावों व जनसंख्या स्थिरीकरण के लिए स्वास्थ्य विभाग व स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं की भूमिका पर चर्चा की गई। वक्ताओं ने लड़की की शादी 18 साल की उम्र के बाद करने, दो बच्चों में तीन वर्ष का अंतर रखने व बच्चों में अंतर रखने के लिए गर्भ निरोधक साधनों का उपयोग करने पर जोर दिया गया। साथ ही बताया गया कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा परिवार नियोजन के साधन पुरुष नसबंदी कराने पर रुपए 2000 की,महिला नसबंदी कराने पर रूपए 1400 व गर्भ निरोधक उपाय पीपीआईयूसीडी अपनाने पर रुपए 300 व प्रसव के बाद 7 दिन के भीतर नसबंदी अपनाने पर रूपए 2200 की प्रोत्साहन राशि प्रदान की जा रही है।
आयोजित कार्यक्रमों में प्रभारी चिकित्सा अधिकारी डाॅ. खुशपाल शाह, डाॅ. गोपाल सजवाण, डाॅ. अतुल उपाध्याय, डॉ. मनीष, डाॅ. प्रियेशी, डाॅ. मोनिका सजवाण, डाॅ. वैभव विशाल, वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी दिनेश बिष्ट, फार्मेसी अधिकारी शशि भूषण गौड़, डीपीएम हिमांशु नौडियाल, प्रभारी समन्वयक परिवार नियोजन यशवंत राणा, काउंसलर परिवार नियोजन रेखा जोशी, शांति जगवाण, काउंसलर आरकेएसके विपिन सेमवाल आदि मौजूद रहे।